पहले चलती थीं 382 लोकल ट्रेनें, कोरोना काल में मात्र 18, सड़क पर हर दिन बाहर से आए 20 हजार अतिरिक्त वाहन

जाम से आम-अवाम इन दिनों त्राहिमाम कर रहा है। लॉकडाउन खत्म होने के बाद सबकुछ खुल गया, लेकिन ट्रेनों का परिचालन अबतक सामान्य नहीं हाे सका। काेराेना काल से पहले पूर्व मध्य रेल में 382 लोकल ट्रेनें चलती थीं। आज इनकी संख्या मात्र 18 है। इससे सड़कों पर करीब 20 हजार अतिरिक्त वाहनों का दबाव बढ़ गया है। राजधानी एवं आसपास के इलाकाें मे राेजाना लगने वाली जाम की एक बड़ी वजह यही है।
छठ से पहले परिवहन सचिव संजय कुमार अग्रवाल ने दानापुर के डीआरएम समेत संबंधित रेल अधिकारियों से विभिन्न रेल मार्गों पर ट्रेन चलाने का अनुरोध किया था। तब रेलवे ने सात इंटरसिटी ट्रेनों का परिचालन शुरू किया। हालांकि, यह संख्या दैनिक यात्रियाें काे देखते हुए नाकाफी है।

हर दिन पटना में आसपास के शहरों से करीब डेढ़ से 2 लाख यात्री ट्रेन से आते थे। लाेकल ट्रेनों के नहीं चलने से लाेग सार्वजनिक वाहनाें का इस्तेमाल करने के लिए मजबूर हैं। साथ ही काेराेना संक्रमण काे देखते हुए बड़ी संख्या में लाेग निजी वाहनाें का इस्तेमाल कर रहे हैं। एक अनुमान के मुताबिक आम दिनाें में शहर में हर दिन तीन से चार लाख छाेटे-बड़े वाहनाें का परिचालन हाेता है।

आज से 3 वरीय दंडाधिकारी हटवाएंगे शहर से अतिक्रमण

प्रमंडलीय आयुक्त संजय कुमार अग्रवाल के निर्देश पर शनिवार से तीन वरीय दंडाधिकारी के नेतृत्व में अतिक्रमण हटाओ अभियान चलेगा। इसके लिए जिला प्रशासन ने डीसीएलआर दानापुर, पालीगंज और मसौढ़ी के नेतृत्व में तीन टीम का गठन किया गया है। इसमें नगर निगम के पदाधिकारी और कर्मी, पुलिस प्रशासन के पदाधिकारी और कर्मियों, पेसू के इंजीनियर, अंचल के कर्मी के साथ अन्य संबंधित विभागों के पदाधिकारी और कर्मी शामिल हैं।

एक टीम नूतन राजधानी अंचल, दूसरी टीम कंकड़बाग और बांकीपुर अंचल और तीसरी टीम पाटलिपुत्र अंचल में यातायात परिचालन समान्य कराने के लिए अभियान चलाएगी। सड़क पर अतिक्रमण करने वालों से ऑनस्पॉट जुर्माना भी वसूला जाएगा। सभी थानेदारों की जिम्मेदारी होगी कि वे दोबारा उस स्थान पर अतिक्रमण नहीं लगने दें। प्रमंडलीय आयुक्त ने इस संबंध में एसएसपी उपेंद्र शर्मा को भी आवश्यक दिशा-निर्देश दिया है। उन्होंने कहा है कि दोबारा अतिक्रमण करनेवालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

पिक ऑवर में सड़क पर वाहनों का दबाव, लोग त्रस्त

राजधानी की जनता हर दिन जाम से जूझ रही है। शहर के प्रमुख और महत्वपूर्ण इलाकों में लगभग हर दिन पिक आवर में जाम लग जाता है। लोगों के सुबह में ऑफिस जाने और शाम के वक्त ऑफिस से लौटने के समय शहर में ट्रैफिक का दबाव इतना बढ़ता है कि गाड़ियों की लंबी लाइन लग जाती है। डाक बंगला चौराहा, बुद्ध मार्ग, ललित भवन के पास, अशोक राजपथ, बारी पथ, बुद्धा काॅलोनी थाना मोड़, भट्टाचार्या मोड़ सहित कई इलाकों में हर दिन का यही नजारा है।

पटना जंक्शन के पास ऑटो के तितर वितर तरीके से लगे रहने के कारण हर दिन जाम लग जा रहा है। शुक्रवार की शाम स्टेशन गोलंबर से सीडीएस बिल्डिंग की तरफ जाने वाले रास्ते पर काफी देर तक जाम लगा रहा। वहीं गोलंबर से जीपीओ के बीच की सड़क पर फुटपाथी दुकानदारों के अतिक्रमण के कारण दिनभर यहां गाड़ियां रेंगकर चलती हैं।

लोकल ट्रेनों की संख्या बढ़ाने से संबंधित अभी कोई निर्णय नहीं

कोरोना काल में लोकल पैसेंजर मेमू-डेमू ट्रेनों की संख्या बढ़ाने को लेकर रेलवे बोर्ड की ओर से फिलहाल कोई निर्णय नहीं आया है। पिछले दिनों छठ के दौरान लगे जाम के बाद राज्य सरकार से आग्रह मिला था, तब 7 जोड़ी इंटरसिटी ट्रेनों का परिचालन किया गया था। इसके बाद कोई अनुरोध नहीं मिला, क्योंकि कोरोना काल में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय का स्पष्ट आदेश है कि राज्य सरकार के अनुरोध पर भी रेलवे किसी भी ट्रेन का परिचालन कर सकता है। अभी जिन ट्रेनों का परिचालन हो रहा है, उनमें कोरोना गाइडलाइन का पालन कराया जा रहा है। -राजेश कुमार, सीपीआरओ, पूर्व मध्य रेल



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बुद्ध मार्ग में जाम
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